घास की आड़ में-
जड़ में दीवार के,
शिकारी छुपा था,
करने को शिकार।
बिलांग भर ऊपर,
शिकार का घर,
बाहर थे बड़े,
बच्चे ताक-झांक में,
मग्न थे-
खेल में,
ख़तरों से अन्जान।
संयोग अच्छा-
ईंट का असंतुलित टुकड़ा,
गिरा ज़मीन पे-
अन्य टुकड़े के सर पर,
आवाज़ हुई,
अन्दर दुबक गए बच्चे,
घबरा कर-
शिकारी भाग गया,
साथ गई आफ़त।
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